✎ शिव कुमार त्रिपाठी
श्री जुगलकिशोर जी मंदिर के पूजा पाठ में परिवर्तन को लेकर भक्तों ने जताई आपत्ति
वर्षों पुरानी परंपराओं के अनुसार ही होने दें पूजा पाठ
मंदिर खुलने के समय में परिवर्तन करना चाहते हैं कलेक्टर
गोधूलि बेला में मंदिरों के पट खोले जाने पर कर रहे विचार
पन्ना का श्री जुगलकिशोर जी मंदिर बुंदेलखंड की लोगों की सबसे बड़ी आस्था का केंद्र है जिस तरह यह मंदिर अनोखा है वैसी ही यहां की परंपरा और मान्यता अनोखी है कहते हैं कि भगवान जुगल किशोर अपने राज्य में भक्तों को कभी भूखा नहीं सोने देते लिहाजा भगवान पहले अपने श्रद्धालु भक्तों को भोजन कराते हैं बाद में भगवान भोजन करते इसी कारण से दोपहर का भोग जुगल किशोर जी को 2:30 बजे और रात की बयारी आरती रात 10:00 बजे होती है तब तक नगर के सभी भक्त भोजन कर चुके होते हैं,,,, जबकि भारत वर्ष के अन्य मंदिरों में भक्त पहले भगवान को भोग लगाते और बाद में स्वयं भोजन करते हैं
इसी कारण से जुगल किशोर जी मंदिर में हर किसी की आस्था है तभी तो *”पन्ना के जुगल किशोर हो मुरलिया में हीरा जड़े हैं”* लोक भजन पूरे बुंदेलखंड के हर घर और हर शुभ कार्य में गाया जाता है
पर बीते कुछ दिनों से मंदिर की प्राचीन परंपराओं में परिवर्तन करते हुए 2 घंटे पूर्व मंदिर के पट खोले जाने पर जिला प्रशासन विचार कर रहा है जिस पर श्रद्धालुओं ने नाराजगी जताई है कुछ चुनिंदा राजनेताओं के बीच जिला प्रशासन की हुई बैठक में राजनेताओं ने सहमति जता दी थी जिसका पत्र कलेक्टर कार्यालय से जारी होते ही श्रद्धालु भक्तों में नाराजगी व्याप्त हो गई , इस समय परिवर्तन की योजना से दुखी श्रद्धालु सभी राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों और मंदिर में आस्था रखने वाले श्रद्धालुओं ने आज कलेक्ट्रेट कार्यालय पहुंचकर कलेक्टर कर्मवीर शर्मा को ज्ञापन सौंपा है जिसमें कहा गया है कि मंदिर की प्राचीन परंपराएं हैं इनसे जिला प्रशासन को छेड़खानी नहीं करनी चाहिए यदि हमारी परंपराओं में परिवर्तन कर छेड़खानी की जाती है तो हमारी आस्था आहत होंगी इसको लेकर सभी ने एक ज्ञापन भी दिया है
इस संबंध में कलेक्टर कर्मवीर शर्मा ने कहा कि गोधूलि बेला का अपना अलग महत्व है देश के अधिकांश मंदिर गोधूलि बेला पर खोले जाते हैं लिहाजा यहां भी समय की परिवर्तन का विचार आया है जिस पर सभी लोगों से सहमति ली जा रही है प्रशासन चाहता है कि पन्ना के मंदिर भी समय से पूर्व खोले जाए जिससे बाहर से आने वाले श्रद्धालुओं को मंदिर के दर्शन हो सके जिससे यहां का पर्यटन भी बढ़ेगा कलेक्टर ने कहा कि मंदिर समय से पूर्व खोले जाने पर विचार किया जा रहा है जैसे सभी लोगों की इच्छा और मत होगा वैसा ही किया जाएगा
ज्ञापन देने पहुंचे बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने कलेक्टर चेंबर में बैठकर मंदिर की प्राचीन परंपराएं महत्व और सभी मंदिरों में अलग-अलग समय पर आरती होने की बात कही श्रद्धालुओं ने बताया कि जिस तरह प्रशासन चाहता है कि मंदिर का समय पहले किया जाए वह पहले से ही नगर में प्रचलित है क्योंकि श्री राम मंदिर, श्री बलदेव जी मंदिर और श्री जुगल किशोर जी मंदिर की आरती में आधा-आधा घंटे का अंतर है एक भक्त 1 दिन में तीनों मंदिरों की आरती में शामिल हो सकता है यही यहाँ की परंपरा की सुंदरता है ऐसी परंपराएं आज नहीं बरसों से चली आ रही हैं हम सभी लोग चाहते हैं कि मंदिर की आस्था और परंपरा से छेड़खानी ना की जाए
ज्ञापन में कहा गया है कि जिला प्रशासन प्राचीन परंपरा के अनुसार की मंदिर की पूजा पाठ होने दे समय में परिवर्तन करने की बजाय जिला प्रशासन को मंदिर में सुरक्षा साफ सफाई सुविधाओं का विस्तार जैसी बातों पर कार्य करना चाहिए